tag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post1552757486491463262..comments2024-03-27T14:44:27.129+05:30Comments on मेरे गीत !: हमें पता है,स्वर्ग के दावे,कितने कच्चे दुनियां में -सतीश सक्सेना Satish Saxena http://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comBlogger19125tag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-46613719448815887502013-10-04T14:01:16.014+05:302013-10-04T14:01:16.014+05:30संभलना तो खुद ही है..संभलना तो खुद ही है..Amrita Tanmayhttps://www.blogger.com/profile/06785912345168519887noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-76013854821892003202013-10-03T20:23:31.065+05:302013-10-03T20:23:31.065+05:30यत्र तत्र सर्वत्र फैले हैं ठग और मासूम। कौन कहाँ क...यत्र तत्र सर्वत्र फैले हैं ठग और मासूम। कौन कहाँ कब किससे ठगा जाय पता नहीं...:( सबके मूल में है स्वार्थ और लोभ की भावना।देवेन्द्र पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/07466843806711544757noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-80433568260229152092013-10-03T18:23:16.662+05:302013-10-03T18:23:16.662+05:30 बहुत सटीक बहुत सटीकसंजय भास्कर https://www.blogger.com/profile/08195795661130888170noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-28274808443464346742013-10-03T09:55:44.594+05:302013-10-03T09:55:44.594+05:30भोली जनता इज्ज़त देती
वेश देख , सन्यासी को !
घर ...भोली जनता इज्ज़त देती <br />वेश देख , सन्यासी को !<br />घर में लाकर उन्हें सुलाए<br />भोजन दे , बनवासी को !<br />अलख निरंजन गायें, डोलें,मुफ्त की खाएं डाकू लोग !<br />इन बाबाओं को, घर लाकर ,पैर दबाएँ , सीधे लोग !<br /><br />बढ़िया व्यंग्य विडंबन। virendra sharmahttps://www.blogger.com/profile/02192395730821008281noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-35807587535461517982013-10-03T09:10:23.594+05:302013-10-03T09:10:23.594+05:30आदर्श यदि ऊँचे रखें तो चूहे कुतर नहीं पायेंगे।आदर्श यदि ऊँचे रखें तो चूहे कुतर नहीं पायेंगे।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-87320539181670255742013-10-03T08:44:20.286+05:302013-10-03T08:44:20.286+05:30नकली के फेर में असली भी झूठे साबित होने लगते हैं !...नकली के फेर में असली भी झूठे साबित होने लगते हैं !वाणी गीतhttps://www.blogger.com/profile/01846470925557893834noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-38055642891865822292013-10-03T07:40:05.839+05:302013-10-03T07:40:05.839+05:30बिलकुल सच्ची बात.बिलकुल सच्ची बात.ओंकारनाथ मिश्र https://www.blogger.com/profile/11671991647226475135noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-50435238923408125682013-10-03T01:10:42.617+05:302013-10-03T01:10:42.617+05:30sahi kaha aapne v suman ji ne .aabhar sahi kaha aapne v suman ji ne .aabhar Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-44120142702233577632013-10-02T22:20:54.376+05:302013-10-02T22:20:54.376+05:30एक छोटे से दिए गए कमेंट पर आपने बहुत बढ़िया विस्ता...एक छोटे से दिए गए कमेंट पर आपने बहुत बढ़िया विस्तार किया है, मै एक छोटे से गांव से संबंधित हूँ यहाँ बहुत सारा समय बिताया है मैंने, गांव में साधू संतों के बारे में बहुत सारे किस्से प्रचलित है जिसमे कुछ अच्छी बाते भी है कभी सुनाउंगी :) आभार अच्छी पोस्ट के लिए !Sumanhttps://www.blogger.com/profile/02336964774907278426noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-8944257578798442562013-10-02T21:59:42.456+05:302013-10-02T21:59:42.456+05:30जब बाबाश्री ताऊनाथ जैसे संत होंगे तो और क्या होगा?...जब बाबाश्री ताऊनाथ जैसे संत होंगे तो और क्या होगा? जनता ही माथे पर बिठाती है और इसी तरह के हालात रहे तो जनता ही इन्हें पटक भी देगी. बहुत सटीक आलेख.<br /><br />रामराम.ताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-67349945652807395672013-10-02T21:20:04.947+05:302013-10-02T21:20:04.947+05:30लोगों की धार्मिक भावनाओं का दोहन कर जिन्दगी के मजे...लोगों की धार्मिक भावनाओं का दोहन कर जिन्दगी के मजे ही ये बाबा लोग लेते है !!Gyan Darpanhttps://www.blogger.com/profile/01835516927366814316noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-43296738851751942082013-10-02T18:37:07.683+05:302013-10-02T18:37:07.683+05:30बाबा खडग सिंह की कहानी हार की जीत याद आती है...जिस...बाबा खडग सिंह की कहानी हार की जीत याद आती है...जिसमें डाकू का भी चरित्र था...कुछ बाबाओं की वज़ह से सबसे विश्वास उठ गया है जनता का... Vaanbhatthttps://www.blogger.com/profile/12696036905764868427noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-84141695483484015942013-10-02T18:22:10.743+05:302013-10-02T18:22:10.743+05:30
ढोंग आडम्बर का बोलबाला है-
हमारा ही दोष है-
बढ़िय...<br />ढोंग आडम्बर का बोलबाला है-<br />हमारा ही दोष है-<br />बढ़िया प्रस्तुति--<br />शुभकामनायें आदरणीय सतीश जी-रविकर https://www.blogger.com/profile/00288028073010827898noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-49357443860694871622013-10-02T18:00:33.353+05:302013-10-02T18:00:33.353+05:30मूर्ख हमेशा रहे हैं ,आज भी हैं और आगे भी रहेगें -ब...मूर्ख हमेशा रहे हैं ,आज भी हैं और आगे भी रहेगें -बस ऐसी बुलंद आवाजें कविजन उठाते रहें! Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-90152983082478281672013-10-02T16:55:19.370+05:302013-10-02T16:55:19.370+05:30 जितने भी चोर ढोंगी निकम्मे , और ओघद्द्पन्थी लोग ... जितने भी चोर ढोंगी निकम्मे , और ओघद्द्पन्थी लोग हैं वे सब संत बन ठगोरे बन गए, असली तो अब न पहचाने जाते न पूजे जाते.गलती हमारी ही है कि हम इन सब के पीछे हो लेते हैं.dr.mahendraghttps://www.blogger.com/profile/07060472799281847141noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-25349635411495336872013-10-02T15:54:57.668+05:302013-10-02T15:54:57.668+05:30इन बाबाओं ने भारतवर्ष की आध्यात्मिक छवि की वाट लगा...इन बाबाओं ने भारतवर्ष की आध्यात्मिक छवि की वाट लगा दी। :(<br />सिद्धार्थ शंकर त्रिपाठीhttps://www.blogger.com/profile/04825484506335597800noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-34788307171925421762013-10-02T15:45:40.048+05:302013-10-02T15:45:40.048+05:30आज सच्चे संतों की जगह अनपढों ने नहीं गुंडो बदमाशो...आज सच्चे संतों की जगह अनपढों ने नहीं गुंडो बदमाशों ने ले ली है .... ऐसा मैने लिखा था मेरा लेख पढें .... अपने बचने के लिए कुछ भी करो बाबा पर ज्योतिष और धर्म को यूं बदनाम न करो .... http://sangeetapuri.blogspot.in/2009/12/blog-post_11.htmlसंगीता पुरी https://www.blogger.com/profile/04508740964075984362noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-26595640614168068662013-10-02T15:21:39.359+05:302013-10-02T15:21:39.359+05:30ब्रज मोहन श्रीवास्तव का कमेन्ट फेस बुक पर ...
स...ब्रज मोहन श्रीवास्तव का कमेन्ट फेस बुक पर ...<br /><br /> सरजी । हजारों साल से तो व्यापार भी चल रहा है कोई आटा बेचता आ रहा है कोई शकर तो कोई तेल। लेकिन यह दुकान जिसका आप कह रहे है वह ज्यादा ही चलती है,स्वर्ग का मोह, नर्क का डर,और नर्क भी कैसे कैसे और नाम भी नर्को के रौरब आदि,। भय मानसिक रोग है जो लगभग हर प्राणी में पाया ही जाता है। एक तो भय और धर्म का नशा और ऐसा नशा कि जिसके आगे कुछ दिखाई ही न दे ,किसी की सुनने मानने तैयार ही नहीं,और जिसमें तुर्रा यह कि जन्मघुटटी के साथ ही पिला दिया जाता है। यह व्यापार तो चलेगा ही आप कुछ भी करलेSatish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-42048302100659209442013-10-02T14:30:54.057+05:302013-10-02T14:30:54.057+05:30विल्कुल सही लिखा आपने सर !मेरे गाँव में ओझाओ की खू... विल्कुल सही लिखा आपने सर !मेरे गाँव में ओझाओ की खूब चलती हैं |तरह तरह के भूत भगाते हैं |शहर के प्रतिष्ठित मेडिकल कालेज में छात्र हूँ|रोजाना opd में ऐसे मरणासन्न लोगों कों देखता हूँ |जिनका बाबाओ ने सब लुट लिया हैं |<br /> ये बाबा महिलाओं से के बहुत बड़े दुश्मन हैं ,आपकी पाठिका पाटिल जी की बात से सहमत हूँ |इन ढोंगियो कों मान देती हैं ,जागरूकता की सख्त जरूरत हैं |<br /><br /><a href="http://drakyadav.blogspot.in/" rel="nofollow">“महात्मा गाँधी :एक महान विचारक !”</a><br /> Dr ajay yadavhttps://www.blogger.com/profile/17231136774360906876noreply@blogger.com