tag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post7971062369722455141..comments2024-03-27T14:44:27.129+05:30Comments on मेरे गीत !: ब्लाग पाठकों से अनुरोध -सतीश सक्सेनाSatish Saxena http://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comBlogger69125tag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-3860253726422088262010-10-25T19:44:31.210+05:302010-10-25T19:44:31.210+05:30किस पर निगाहें और किस पर निशाना है प्रभु...ये तो ब...किस पर निगाहें और किस पर निशाना है प्रभु...ये तो बताएं...<br /><br />नीरजनीरज गोस्वामीhttps://www.blogger.com/profile/07783169049273015154noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-88808359036425991802010-10-25T13:17:56.769+05:302010-10-25T13:17:56.769+05:30hmmm... aglee baar kisi blog pe comment karne ke p...hmmm... aglee baar kisi blog pe comment karne ke pahle aapkee baat dhyaan rakhungee... parantu bas ek baat bata dijiye ki yadi koi majhha khiladi koi naya shot khele aur kisi dekhne waale kee samajh mei wo na aaye, to kya sawaal uthana galat ahai... khair, jo bhi hai, blogging kee duniya samajhne mei shayad kuchh waqt lagega mujhe... par ek wasal aur hai... aisa kyoon hota hai ki aap 100 blogs mei jaaye to aapko sirf 10 visit milte hai, ya wo bhi nahi milte???POOJA...https://www.blogger.com/profile/03449314907714567024noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-67783290023135768942010-10-25T07:41:21.030+05:302010-10-25T07:41:21.030+05:30कुछ भी समझ नहीं आ रहा ...सब कुछ दिमाग (है भी क्या ...कुछ भी समझ नहीं आ रहा ...सब कुछ दिमाग (है भी क्या ??) के ऊपर से निकल गया ...<br /><br />वैसे हम तो पोस्ट देखकर बेबाकी से टिप्पणी करते हैं , तस्वीरें देखकर नहीं इसलिए ...निश्चिंत हैं ...!वाणी गीतhttps://www.blogger.com/profile/01846470925557893834noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-29721154867789375232010-10-25T05:04:27.887+05:302010-10-25T05:04:27.887+05:30मान्यवर!
ब्लॉग जगत की झंडाबरदारों/घाघों/महाघाघों...मान्यवर! <br /> ब्लॉग जगत की झंडाबरदारों/घाघों/महाघाघों के विषय में नवागंतुक तथाकथित युवा खद्योतगणों के दिग्भ्रमित होने का प्रयोजन शायद "महाजनो येन गतः स पन्थाः" हो सकता है ... :))<br />हम जैसे बहुत से (अ)युवा ब्लॉगर आज तक नहीं समझ पाए कि हम किस श्रेणी में हैं ... तो मजधार में डूब जाने से अच्छा है कोई एक किनारा पकल्लिया जाए ... <br />प्रयोजन आपका पक्कम पक्का द्वेष रहित रहा होगा ... किन्तु परन्तु लेकिन ... पोस्ट कुछ गरिष्ठ हो गयी है जो हम जैसे अज्ञानी के एंटीना पहुँच से दूर रह गयी है ... फोटुवें प्रथम दृष्टया भ्रम पैदा करती हैं ... <br />चलिए एक तुरंती अर्ज कर देता हूँ ,... कृपया इसे खाने के बाद स्वीट डिश के रूप में मानें :)<br /><br />ब्लॉग जगत के तीर पर भई संतन की भीर <br />कोई कुल्ली कर रहा कोई कचारे चीर <br />कोई कचारे चीर कमंडल भर भर जावें <br />खावें वहीँ,वहीँ पर नित्यक्रिया निपटावें <br />कहें पद्म यह देख कर मन हो रहा अधीर <br />जाने कब आये सुदिन ब्लॉगजगत के तीरपद्म सिंहhttp://padmsingh.wordpress.comnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-60274731353356346332010-10-24T20:18:16.762+05:302010-10-24T20:18:16.762+05:30मुझे तो अभी तक न कोई घाघ मिला न महाघाघ और न ही कोई...मुझे तो अभी तक न कोई घाघ मिला न महाघाघ और न ही कोई गुट. कभी कभी चार बर्तन आपस में खड़खड़ा जाते है. बस, फिर अपनी जगह पहुंचते ही शान्त हो जाते हैं.भारतीय नागरिक - Indian Citizenhttps://www.blogger.com/profile/07029593617561774841noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-14182776032894502472010-10-24T17:28:35.063+05:302010-10-24T17:28:35.063+05:30:)...:)...shikha varshneyhttps://www.blogger.com/profile/07611846269234719146noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-13934315036000784692010-10-24T16:58:07.815+05:302010-10-24T16:58:07.815+05:30इन नकली उस्ताद जी से पूछा जाये कि ये कौन बडा साहित...<b>इन नकली उस्ताद जी से पूछा जाये कि ये कौन बडा साहित्य लिखे बैठे हैं जो लोगों को नंबर बांटते फ़िर रहे हैं? अगर इतने ही बडे गुणी मास्टर हैं तो सामने आकर मूल्यांकन करें।<br /><br />स्वयं इनके ब्लाग पर कैसा साहित्य लिखा है? यही इनके गुणी होने की पहचान है। अब यही छदम आवरण ओढे हुये लोग हिंदी की सेवा करेंगे?</b>उस्ताद जी (असली पटियाला वाले)https://www.blogger.com/profile/14588555460536903803noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-718020293189810662010-10-24T00:14:00.808+05:302010-10-24T00:14:00.808+05:30पोस्ट और सारी टिप्पणियाँ पढने के बाद हम तो सिर्फ म...पोस्ट और सारी टिप्पणियाँ पढने के बाद हम तो सिर्फ मुस्करा कर ही जा रहे है |Gyan Darpanhttps://www.blogger.com/profile/01835516927366814316noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-75480603125109775962010-10-23T22:25:18.535+05:302010-10-23T22:25:18.535+05:30यही अर्थ लगायें कि
पहले हिन्दी ब्लॉग विश्व युद्...यही अर्थ लगायें कि<br />पहले हिन्दी ब्लॉग विश्व युद्ध के<br />बन रहे हैं आसार<br />या मेरा अनुमान है निस्सार।<br /><br />निस्सार ही हो तो अच्छा<br />ब्लॉग जगत का भला करेगा<br />हिन्दी सेवक जो भी है सच्चा।अविनाश वाचस्पतिhttps://www.blogger.com/profile/05081322291051590431noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-50163005035781856862010-10-23T22:14:05.459+05:302010-10-23T22:14:05.459+05:30@ भाई प्रवीण शाह,
उपरोक्त लेख मेरे खुद के व्यक्ति...@ भाई प्रवीण शाह,<br /><br />उपरोक्त लेख मेरे खुद के व्यक्तिगत अनुभव और अभी हाल के दो या तीन पोस्टों पर छपी हुए कुछ टिप्पणियों से प्रभावित है !मैं अपने आपको व्यक्तिविशेष के खिलाफ लिखने से बहुत बचाने का प्रयत्न करता हूँ मगर अन्याय और गलत बात का खंडन करना मैं नितांत आवश्यक मानता हूँ ! देर सबेर अगर आवश्यक हुआ तो अवश्य खुल कर लिखूंगा !<br /><br /><strong>आपके कथनानुसार यह मेरा भी विश्वास है कि लेखन व्यक्तित्व की पहचान है, देर सबेर पाठक फैसला कर देंगे कि ब्लाग जगत में गाल बजाते लोगों में से समाज के लिए अच्छा कौन है !</strong>Satish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-37199673260248098242010-10-23T21:48:57.921+05:302010-10-23T21:48:57.921+05:30चाचा जी, आपको किससे दुख पहुँचा है ये तो मुझे नही प...चाचा जी, आपको किससे दुख पहुँचा है ये तो मुझे नही पता..पर ऐसा मानता हूँ ऐसे शख्स बुद्धिमान नही बल्कि मूर्ख होते है .अपने किसी स्वार्थ के लिए बड़ों के मन को ठेस पहुँचाए.....और हाँ अगर जाने-अंजाने में मुझसे कोई ग़लती हुई तो क्षमा चाहता हूँ..प्रणामविनोद कुमार पांडेयhttps://www.blogger.com/profile/17755015886999311114noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-89546503923959827792010-10-23T21:19:47.838+05:302010-10-23T21:19:47.838+05:30@ डॉ अमर कुमार ,
गुनाहगारों में शामिल हैं गुनाहों...@ डॉ अमर कुमार ,<br /><br />गुनाहगारों में शामिल हैं गुनाहों से नहीं वाकिफ<br />सजा को जानते हैं हम खुदा जाने खता क्या हैSatish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-23943139953025771292010-10-23T21:16:45.669+05:302010-10-23T21:16:45.669+05:30@ दीपक मशाल ,
कुछ लोग जीवन भर दूसरों से पूंछ पूंछ...@ दीपक मशाल ,<br /><br />कुछ लोग जीवन भर दूसरों से पूंछ पूंछ कर, चलते हुए जीवन काटते हैं, इनके पास अपनी बुद्धि नहीं होती ऐसे मूर्ख मेरी नज़र में मात्र नपुंसक होते हैं ! <br />ऐसे लोग धनवान होने के बावजूद,पड़ोसियों के धनी होने पर रोते रहते हैं! इन नकारात्मक सोच से ग्रसित लोगों को मुक्त हास जीवन भर नसीब नहीं होता ! अफ़सोस यह है कि इन कुंद बुद्धि लोगों में कुछ नौजवान भी हैं जिन्हें अनजानों को गाली देना शायद उनके परिवार में ही सिखाया होगा !<br /><br />बहुत दिन बाद आये दीपक ! बहुत अच्छा लगा !<br />शुभकामनायेंSatish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-62035709238115737612010-10-23T21:04:43.065+05:302010-10-23T21:04:43.065+05:30अरे सतीश भाई-शिकायत न पालो!!!!
यूँ न रहेगा मौसम ...अरे सतीश भाई-शिकायत न पालो!!!!<br /><br /><br />यूँ न रहेगा मौसम एक सा हरदम,<br />चलेगी पवन भी, मगर धीरे धीरे....<br /><br />पवन =समीरUdan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-86764805759750706942010-10-23T21:00:53.841+05:302010-10-23T21:00:53.841+05:30@ Udan Tashtari
आपत्ति ओवररूल्ड...ताऊ अदालत ने ...@ Udan Tashtari <br /><br />आपत्ति ओवररूल्ड...ताऊ अदालत ने महाघाघ शिरोमणी का खिताब देदिया सो देदिया. नो अपील नो दलील अगेंस्ट ताऊ अदालत.:)<br /><br />रामराम<br /><br />-महाघाघ शिरोमणी ताऊताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-10546358334844638862010-10-23T21:00:52.618+05:302010-10-23T21:00:52.618+05:30.
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आदरणीय सतीश सक्सेना जी,
वैसे मैं आपका आशय व....<br />.<br />.<br />आदरणीय सतीश सक्सेना जी,<br /><br />वैसे मैं आपका आशय व ईशारा समझ गया हूँ परंतु फिर भी आप थोड़ा और स्पष्ट यदि कर देते तो बेहतर रहता... कहीं आप भी भयंकर कोप से भयभीत तो नहीं हैं... :)<br /><br />थोड़े बहुत रद्दोबदल के साथ आप द्वारा कही कुछ बातों को पुन: दोहरा देना चाहूँगा...<br /><br /><b>*** किसी भी लेख अथवा रचनाकार के व्यक्तित्व से प्रभावित होकर, निष्छल मन से तारीफ़ करते यह युवा मन यह नहीं समझ पाते कि वे सामान्य तारीफ़ करने की वजाय,जोश में परम चाटुकारिता की सीमा लांघ चुके हैं !और ऐसा कर वे एक चालाक, अवसरवादी व अस्थिरचित्त कलमकार को घमंड की धार देकर और घातक बना रहे हैं...</b><br /><br />वह यह तक नहीं देख पाते कि वहीं पर लेखक की सोच के इतर राय रखने वाले टिप्पणीकारों पर कितने व्यंग्यबाण चलाये जा रहे हैं या किस तरह से सार्वजनिक अपमान किया जा रहा है।<br /><br /><b>***इन मासूम युवा विद्वानों को, अपने दुश्मनों के खिलाफ प्रेरित करना बड़ा आसान है , केवल अपना रंजिश या ईर्ष्या से दुखता दिल दिखाने की जरूरत भर है , ये युवा लेख़क स्वाभाविक जोश में ,किसी भी ईमानदार को चोर, देशभक्त को गद्दार, विद्वान को मूर्ख और चरित्रवान को लम्पट लिख देने में देर नहीं लगायेंगे !</b><br /><br />अब नाम तो नहीं लेना चाहूँगा पर हाल ही में ऐसा खुलेआम हुआ...और विरोध में केवल गिनेचुने स्वर ही उठे... बाकी ने या तो मूक सहमति दी, या अपने पिछले हिसाब किताब निकाले... (विषयान्तर के लिये क्षमा करें... पर मुझे लगता है कि, आदरणीय अरविन्द मिश्र जी का विचारमग्न फोटो आपकी पोस्ट की शोभा कई गुना बढ़ा दे रहा है... आपको धन्यवाद!) <br /><br /><b>***जहाँ एक तरफ अच्छे और उचित लेखों के लिए पाठकों की प्रतिक्रियाएं, वातावरण में सौहार्दपूर्ण मिठास घोलने कार्य करेंगी वहीँ नाज़ुक विषयों पर अनजाने और बिना सोचे समझे की गयी प्रतिक्रियाएं समाज का सत्यानाश कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है ! <br />और इसी प्रकार तात्कालिक जोश में एक सामान्य उत्साही ब्लागर द्वारा, तालियाँ बजाते हुए की गयी तारीफ़ पर अवसरवादी, चालाक,शब्दाडम्बर युक्त, विरोधाभासों से भरी,पथभ्रष्ट, अल्पज्ञानी और अति उत्साहित-अस्थिर मन-मस्तिष्क द्वारा लिखे आलेख, समाज का वह विनाश करेंगे जिसकी कोई कल्पना भी न कर सके ! आज आवश्यकता है कि आप नाज़ुक विषयों और मात्र ध्यान आकर्षित करने के लिये वाले लेखों पर प्रतिक्रिया देते समय, लेख़क की निष्पक्षता ,उद्देश्य और ईमानदारी के प्रति सावधान रहें !</b><br /><br />ब्लॉगिंग भी हमारे समाज की तरह ही है... काठ की हांडियाँ आखिर कितनी बार चढ़ेंगी... तमाम बुरे दौरों की तरह यह दौर भी गुजर जायेगा... और हरेक को उसका वह स्थान भी आखिरकार मिलेगा, जिसका वह पात्र है... आशावान रहिये...<br /><br /><br />...प्रवीण https://www.blogger.com/profile/14904134587958367033noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-11000820993586351852010-10-23T20:58:12.447+05:302010-10-23T20:58:12.447+05:30@ सतीश सक्सेना
चिंता नही करें जैसे जैसे ताऊ अदाल...@ सतीश सक्सेना <br /><br />चिंता नही करें जैसे जैसे ताऊ अदालत के फ़ैसले की कापी मिलती जायेगी सबकी शंका मिटती जायेगी.<br /><br />रामराम<br /><br />-महाघाघ शिरोमणी ताऊताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-62478684567919777332010-10-23T20:56:00.467+05:302010-10-23T20:56:00.467+05:30@ समीर लाल ,
गंभीर शिकायत है आपसे भी ...
न जाना...@ समीर लाल ,<br /><br />गंभीर शिकायत है आपसे भी ...<br /><br />न जाना कि दुनिया से जाता है कोई <br />बड़ी देर की मेहरबाँ , आते आते !!Satish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-20588877224511248212010-10-23T20:49:12.349+05:302010-10-23T20:49:12.349+05:30ताऊ का प्रमोशन बिना हमसे पूछे??
क्या वो हमसे बड़...ताऊ का प्रमोशन बिना हमसे पूछे?? <br /><br />क्या वो हमसे बड़े घाघ हो गये कि बड़े युवा?<br /><br /><br />सख्त आपत्ति है, उनका फोटो हमारे बाद आना चाहिये. :)<br /><br /><br />----<br /><br /><br />वैसे ऐसी टिप्पणियों से जो इतनी ही नाराजगी है लोगों को, तो उन्हें रखे क्यूँ रहते हैं. डिलिट करने का भी तो एक बटन ब्लॉगर ने दिया हुआ है...<br /><br /><br />कोई भी कहे-बेहतरीन और आप दबाओ-डिलिट.<br /><br />दो बार ऐसा करोगे..चौथी बार से वो आना बन्द कर देगा, मामला साफ. इसमें विमर्श कैसा?Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-17103938040197272382010-10-23T20:49:04.848+05:302010-10-23T20:49:04.848+05:30शुक्रिया अंशुमाला !
@"दूसरो का तो नहीं पता प...<strong>शुक्रिया अंशुमाला !<br /><br />@"दूसरो का तो नहीं पता पर मुझे आप की सारी बाते समझ में आ रही है |<br /><br />बेहद खेदजनक रवैया है ब्लाग जगत का, बिना किसी मतलब के, शायद ही कोई ध्यान से किसी और को पढता होगा ! सामान्य सी बात भी समझने के लिए किसी के पास समय नहीं है ! यह पोस्ट मैं अपनी लिखी हुई अच्छी पोस्टों में से एक मानता हूँ ! मगर कांव कांव के कारण मुझे अपनी पूरी ईमानदारी के बावजूद अपनी स्पष्टीकरण देना पड़ा ! यही चरित्र है हमारे समाज का और शायद मेरे रूप में छिपे आम आदमी का चाहे मैं कितना ही अच्छा क्यों न होऊं , मगर मुझे अच्छा लगने के लिए, समाज के इन मज़ाक उड़ाते लोगों का, सहारा लेना ही पड़ेगा !<br /><br />मैं सोंचता हूँ अगर मेरे जैसे निडर के साथ यह हो रहा है तो औरों के साथ क्या हाल होगा .....भयावह है यह सोचना भी...<br /><br />मेरी गलती बस इतनी है कि टिप्पणियों के विषय के साथ, मैंने ब्लाग समाज के कुछ प्रमुखों को ...जो मेरे अच्छे मित्र भी हैं का चित्र यहाँ लगा दिया..जिससे ब्लाग समाज का प्रतिनधित्व कर सके यह लेख ! !</strong>Satish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-2058535620115125882010-10-23T20:31:26.962+05:302010-10-23T20:31:26.962+05:30ताऊ ,
बरी करने के लिए धन्यवाद आपका ! अदालत में अपी...<strong>ताऊ ,<br />बरी करने के लिए धन्यवाद आपका ! अदालत में अपील की अर्जी नहीं लगाऊंगा ताऊ , तुम्हारी फोटू हर बार अपने ब्लाग पर लगाने को तैयार हूँ, पर सजा समीर लाल, अनूप शुक्ल और संवेदना को भी दी जाए जो मेरी मंशा पर शक कर रहे हैं ...<br />प्यार के साथ यह सलूक वर्दाश्त नहीं होना चाहिए ! यही अदालत से दरख्वास्त है....<br />सादर</strong>Satish Saxena https://www.blogger.com/profile/03993727586056700899noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-16909362882412826482010-10-23T20:12:12.682+05:302010-10-23T20:12:12.682+05:30आदरणीय सतीश सर,
मेरी तो आजकल कुछ जानबूझ कर कुछ समय...आदरणीय सतीश सर,<br />मेरी तो आजकल कुछ जानबूझ कर कुछ समयाभाव के चलते इस दुनिया से एक निश्चित दूरी बनी हुई है.. एक प्रिय ने लिंक दिया तो इस पोस्ट के बारे में जाना.. अपनी मंदबुद्धि के हिसाब से कह रहा हूँ कि सबसे बड़ी मुसीबत तो ये है कि यहाँ ज्यादातर ऐसी पोस्टों को हर कोई अपने ऊपर लिखी गई मान के चलता है.. जो सुधार के लिए लिखी गई हो या जिसमे कमियाँ गिनाई गईं हों, हर पाठक को लगता है कि ये उसके ऊपर बाण छोड़ा गया है.... और जिस पोस्ट को हर किसी के लिए लिखा जाए उसे कोई भी अपने लिए लिखी गई मान कर नहीं समझता, सबको लगता है कि ये किसी और से कहा गया है.<br />मुझे ही देख लीजिये.. ये पढ़ कर लग रहा है कि युवाओं से कहा गया है.. मैं तो अभी बच्चा हूँ.. एक कहावत है कि 'जब कर नहीं तो डर काये को' और ये भी है कि 'अपनी कमी देखें नईं और दूसरन की पर-पर टेंट निहारत' अभी सोच रहा हूँ कि बच्चे से जब युवा और फिर प्रोढ़ होऊंगा तो उस समय के लिए अपने लिए कौन सी कहावत सोच कर रखूँ(गलती हो जाने पर)... :)<br />उस्ताद जी ने सही कहा.. बढ़िया आह्वाहनदीपक 'मशाल'https://www.blogger.com/profile/00942644736827727003noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-67687154920852457692010-10-23T20:09:55.840+05:302010-10-23T20:09:55.840+05:30सतीश सर,........
आप किस चक्कर में पड़ गए........
...सतीश सर,........<br /><br />आप किस चक्कर में पड़ गए........<br /><br />न तो मुझ मंद बुद्धि को पोस्ट पल्ले पड़ी और न ही विद्वान लोगों के कमेंट्स.....<br /><br />बहरहाल...फट्टे में टांग अडाने की आदत है.... तो कमेंट्स लिख दिया.दीपक बाबाhttps://www.blogger.com/profile/14225710037311600528noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-62160964749021573182010-10-23T18:50:59.256+05:302010-10-23T18:50:59.256+05:30चिर युवाओं की दर्शनीय तस्वीर लगाकर आपने इस पोस...चिर युवाओं की दर्शनीय तस्वीर लगाकर आपने इस पोस्ट को अविस्मर्णीय बना दिया है -जोड़ की नारियां नहीं मिली क्या ?<br />आपका दोष नहीं कोई भी चिर युवा के पैमाने पर नहीं उतरती -मेरी न मानें तो अली सा से पूछ लें !Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6340570424549373370.post-39103235867492199202010-10-23T18:23:50.511+05:302010-10-23T18:23:50.511+05:30सतीश जी
चिटठा जगत में आपकी पोस्ट पर स...सतीश जी <br /><br /> चिटठा जगत में आपकी पोस्ट पर सिर्फ १८ टिप्पणिया ही क्यों दिख रही है यहाँ तो ३९ है दो मैंने दे दी | अब ये क्या गड़बड़ है |anshumalahttps://www.blogger.com/profile/17980751422312173574noreply@blogger.com