तेरे झंडों से न, हिन्दोस्तान जाना जाएगा !
साधू,बाबा,तांत्रिकों ने देश शर्मिन्दा किया
आस्था से धन कमाने का ज़माना जाएगा !
शहर जीता जब उन्होंने तब नशे में लोग थे
होश आने दे शहर को ये ठिकाना जाएगा !
शुक्र है अब नौजवां, अंधे नहीं इस देश के
नबी के बच्चों से झगडे का बहाना जाएगा !
मिटा पाओगे निशां,अल्बर्ट,सेखों,हमीद के ?
सरजमीं पे उन्हीं का अधिकार माना जाएगा !
हमेशा की तरह सुंदर और यथार्थ रचना।
ReplyDeleteतेरे झंडों से न, हिन्दोस्तान जाना जाएगा !
ReplyDeleteझंडे के डंडे निकाल कर तुझे ही पीटा जायेगा !
बहुत खूब ।
काश यही सच हो ....... ऐसा ही माना जाए !!
ReplyDeleteबहुत सुन्दर
ReplyDeleteशहर जीता जब उन्होंने तब नशे में लोग थे
ReplyDeleteशुक्र है अब नौजवां, अंधे नहीं इस देश के ---सारे तत्व इन्ही में निहित हैं। खूबसूरत सन्देश देती हुई हर पंक्तियाँ --उम्दा।
मिटा पाओगे निशां,अल्बर्ट,सेखों,हमीद के
ReplyDeleteसरजमीं पे उन्हीं का अधिकार माना जाएगा !
बिलकुल सही कहा है , सटीक रचना !
सही ... सटीक हैं सभी शेर ... कई शेरों में व्यंग की धार बहुत तेज़ है ...
ReplyDeleteबहुत बढ़िया
ReplyDeleteएक और जबरदस्त प्रस्तुति
ReplyDeleteलाजवाब गीत 1
ReplyDeleteबढ़िया ग़ज़ल
ReplyDeleteप्रस्तुति पढ कर आनंद आया
ReplyDeleteTrue, people get enlightened over the period and then know what actually happened in their ignorance. Necessity is people move into conscious direction which is omnibus. Good, regards.
ReplyDeleteबहुत सुन्दर .....
ReplyDeleteसुन्दरपंक्तियाँ
ReplyDeleteसाधू,बाबा,तांत्रिकों ने देश शर्मिन्दा किया
ReplyDeleteआस्था से धन कमाने का ज़माना जाएगा !
हमारी-आपकी आशाएं फलीभूत हों !
प्रेरक रचना ।
कब खबर उनको लगेगी
ReplyDeleteएक दिन निह भी आजमाया जायेगा।
कब खबर उनको लगेगी
ReplyDeleteएक दिन निह भी आजमाया जायेगा।